अमेरिकी डॉलर के मुकाबले भारतीय रुपये में लगातार रिकॉर्ड तोड़ गिरावट जारी है। केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार के लिए यही एक बुरी खबर नहीं है बल्कि रुपए की विनिमय दर में गिरावट और अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के भाव में तेज उछाल के बीच देश में पेट्रोल तथा डीजल की कीमतें भी अपने सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गई हैं। इस साल देश के कई बीजेपी शासित राज्यों और अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले मोदी सरकार कोई कड़ा कदम नहीं उठाती है कि बीजेपी के लिए यह दोनों मुद्दा मुश्किलें खड़ी कर सकती हैं।

बढ़ोतरी

पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने पेट्रोल-डीजल की आसमान छूती कीमतों पर केंद्र की मोदी सरकार की खूब आलोचना की है। साथ ही उन्होंने इस मुद्दे को लेकर विपक्षी दलों द्वारा विरोध प्रदर्शन नहीं किए जाने पर निराशा जताई है। सरकार की आर्थिक नीतियों के धुर विरोधी रहे पूर्व बीजेपी नेता ने ट्वीट कर कहा, पेट्रोल, डीजल और गैस की कीमतें बढ़ रही हैं और रोजाना हर दिन कीमतें नई ऊंचाईयों पर पहुंच रही हैं। विपक्षी दल सड़कों पर क्यों नहीं उतर रहे हैं? वे किस बात का इंतजार कर रहे हैं?

भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के पूर्व नेता की टिप्पणियां देश भर में पहले से अभूतपूर्व स्तर पर पेट्रोल और डीजल की कीमतों के होने के बावजूद मंगलवार को लगातार 10वें दिन कीमतें बढ़ने के बाद आई हैं। बता दें कि मंगलवार को राजधानी नई दिल्ली में पेट्रोल के दाम में 16 पैसे और डीजल के दाम में 19 पैसे की बढ़ोतरी हुई। जिसके बाद अब दिल्ली में पेट्रोल 79.31 प्रति लीटर और डीजल 71.34 प्रति लीटर तक पहुंच गया है।

वहीं मुंबई में तो पेट्रोल 86.72 रुपये प्रति लीटर है, जो किसी भी मेट्रो शहर में अब तक का सबसे ज्यादा रेट है। कोलकाता और चेन्नई में क्रमशः 82.22 और 82.41 रुपये प्रति लीटर है। बता दें कि 16 अगस्त से अब तक पेट्रोल की कीमतों में 2 रुपये प्रति लीटर से ज्यादा का इजाफा हो चुका है, वहीं डीजल के दाम में 2.42 रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी हुई है।

पेट्रोल-डीजल की आसमान छूती कीमतों पर पूर्व BJP नेता ने पूछा- ‘विपक्षी दल सड़कों पर क्यों नहीं उतर रहे हैं? किस बात का इंतजार है?’



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