देश की राजधानी दिल्ली में स्थित जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) परिसर में रविवार शाम अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के छात्र नेताओं और वामपंथी छात्रों के बीच हुई हिंसक झड़प में जेएनयूएसयू की अध्यक्ष ऐशे घोष सहित कई अन्य विद्यार्थी बुरी तरह से घायल हो गए। मारपीट में घोष को काफी चोटें आई हैं, हमलावरों ने टीचरों को भी नहीं छोड़ा।
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय परिसर में रविवार (5 जनवरी) की रात को उस वक्त हिंसा भड़क गई जब लाठियों से लैस कुछ नकाबपोश बदमाशों ने छात्रों तथा शिक्षकों पर हमला किया, परिसर में संपत्ति को नुकसान पहुंचाया जिसके बाद प्रशासन को पुलिस को बुलाना पड़ा। हमले में जेएनयू छात्र संघ की अध्यक्ष आईशी घोष सहित कम से कम 30 लोग घायल हो गए जिन्हें इलाज के लिए एम्स में भर्ती कराया गया है। शाम को हुए इस बवाल के बाद जेएनयू, एम्स, दिल्ली पुलिस मुख्यालय के बाहर रातभर प्रदर्शन हुआ। बताया जा रहा है कि हिंसा शाम करीब पांच बजे शुरू हुई थी।
जेएनयू प्रशासन ने कहा कि लाठियों से लैस नकाबपोश उपद्रवी परिसर के आसपास घूम रहे थे। वे संपत्ति को नुकसान पहुंचा रहे थे और लोगों पर हमले कर रहे थे। कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस को बुलाया गया। छात्रों ने आरोप लगाया कि हमलावरों ने हॉस्टल में घुसकर छात्रों और शिक्षकों के साथ मारपीट की। कुछ टीवी चैनलों द्वारा प्रसारित वीडियो फुटेज में पुरुषों के एक समूह को दिखाया गया जो हॉकी लिए इमारत में घूम रहे थे।
#WATCH Delhi: Jawaharlal Nehru University Students' Union president & students attacked by people wearing masks on campus. 'What is this? Who are you? Step back, Who are you trying to threaten?… ABVP go back,' can be heard in video. (note: abusive language) pic.twitter.com/gYqBOmA37c
— ANI (@ANI) January 5, 2020
यह हिंसा तब हुई जब जेएनयू शिक्षक संघ एक बैठक कर रहा था। इतिहास विभाग के एक प्रोफेसर आर महालक्ष्मी ने कहा, ‘हमने टी प्वाइंट पर शाम पांच बजे एक शांति बैठक आयोजित की थी। जैसे ही यह खत्म हुई, बड़ी संख्या में लोग परिसर में दाखिल हुए और उन्होंने शिक्षकों और छात्रों पर मनमाने ढंग से हमला करना शुरू कर दिया।’ एक अन्य प्रोफेसर प्रदीप शिंदे ने कहा ‘हमें इस बात पर आश्चर्य है कि इतनी बड़ी संख्या में लोग हाथों में छड़ें लिए कैंपस में कैसे घुसे। मुझे लगता है कि वे ऐसे राजनीतिक कार्यकर्ता थे जो हमेशा हमें देशद्रोही कहते हैं।’
हिंसा का भयानक मंजर बताते हुए रो पड़ी छात्रा
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) परिसर में रविवार को हुए हंगामे और मारपीट के प्रत्यक्षदर्शी उस भयानक मंजर को बताते हुए सिहर उठे। एक छात्रा ने रोते हुए बताया कि मैं कमरे में थी। इसी दौरान मची भगदड़ के बीच छात्रों को अपने तरफ आते देखा। मैने सबसे अपने कमरे को बंद किया और दूसरी छात्राओं को भी ऐसा करने को कहा। मैने जब वीडियो क्लिप लेने की कोशिश की, तो उन्होंने मेरे ऊपर पत्थर मारा।
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) में रविवार रात हुई हिंसा पर निराशा जाहिर की और कहा कि यह उस डर को दिखाती है जो ‘हमारे देश को नियंत्रित कर रही फासीवादी ताकतों को’ छात्रों से लगता है। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘नकाबपोश लोगों द्वारा जेएनयू छात्रों और शिक्षकों पर किया गया नृशंस हमला चौंकाने वाला है जिसमें कई गंभीर रूप से घायल हो गए हैं। हमारे देश को नियंत्रित कर रही फासीवादी ताकतें, बहादुर विद्यार्थियों की आवाज से डरती हैं। जेएनयू में आज हुई हिंसा उस डर को दर्शाती है।’’
The brutal attack on JNU students & teachers by masked thugs, that has left many seriously injured, is shocking.
The fascists in control of our nation, are afraid of the voices of our brave students. Today’s violence in JNU is a reflection of that fear.
#SOSJNU pic.twitter.com/kruTzbxJFJ
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) January 5, 2020
स्वराज अभियान के प्रमुख योगेंद्र यादव पर जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) परिसर के बाहर रविवार को कथित तौर पर हमला किया गया। यादव ने कहा कि वहां गुंडागर्दी को रोकने के लिए कोई नहीं था और उन्हें मीडिया से बात नहीं करने दिया गया। कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा जेएनयू परिसर में हुई हिंसा में घायल छात्रों से मुलाकात करने के लिए दिल्ली के एम्स पहुंचीं।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने घटना पर स्तब्धता जताते हुए कहा कि अगर विश्वविद्यालयों के अंदर ही छात्र सुरक्षित नहीं रहेंगे तो देश प्रगति कैसे करेगा। केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘‘उपराज्यपाल से बात की और उनसे अनुरोध किया कि व्यवस्था बनाये रखने के लिए पुलिस को निर्देश दें। उन्होंने विश्वास दिलाया कि वह हालात पर करीब से नजर रख रहे हैं और सभी जरूरी कदम उठा रहे हैं।’’
Spoke to Hon’ble LG and urged him to direct police to restore order. He has assured that he is closely monitoring the situation and taking all necessary steps https://t.co/gpRGCCbwGF
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) January 5, 2020
मुख्यमंत्री के ट्वीट के कुछ ही समय बाद बैजल ने हिंसा की निंदा करते हुए कहा कि उन्होंने पुलिस को कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए सभी जरूरी कदम उठाने का निर्देश दिया है।
राजनीतिक विश्लेषक योगेंद्र यादव ने हिंसा की निंदा करते हुए ट्वीट किया कि जेएनयूएसयू प्रेसीडेंट आईशी घोष की बुरी तरह पिटाई की गई है और उनके सिर से काफी रक्तस्राव हुआ है। यह कब रूकेगा? एसओएसजेएनयू शर्मनाक। पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के मीडिया सलाहकार व जेएनयू के पूर्व छात्र डॉ. संजय बारू की पत्नी विश्वविद्यालय में शिक्षिका है। बारू ने कहा कि मैं परिसर में नहीं रहता हूं। मेरी पत्नी वहां हैं। उनके छात्र-छात्राएं वहां रहते हैं। वे भयभीत हैं। यह संगठित हमला है और मेरे जैसे अलुमनाई को इसका विरोध करना चाहिए। (इंपुट: आईएएनएस और भाषा के साथ)
http://bit.ly/2Fm5zUB
📢MBK Team | 📰JantaKaReporter
Post A Comment: